एजुकेशन डेस्क, तोपचंद। भारत में डॉक्टर बनने की प्रक्रिया काफी कठिन है. अभी तक के नियमों के मुताबिक, इसके लिए 12वीं बायोलॉजी विषय से पास करना अनिवार्य होता था. लेकिन अब नए नियम के तहत, 12वीं में बायोलॉजी/बायोटेक्नोलॉजी विषय न होने पर भी आप नीट परीक्षा दे सकते हैं. एनएमसी के नए नियमों (NMC New Guidelines) में ऐसे उम्मीदवारों को एक ऑप्शन दिया जा रहा है.
12वीं में बायोलॉजी या बायोटेक्नोलॉजी विषय नहीं होने पर 10+2 स्तर की उसकी परीक्षा अलग से पास कर सकते हैं. स्टूडेंट्स को यह एग्जाम किसी भी मान्यता प्राप्त बोर्ड से देना होगा. अलग से पास करने वाले स्टूडेंट्स विदेशी मेडिकल कॉलेज में भी एडमिशन ले सकेंगे. नेशनल मेडिकल कमीशन इन स्टूडेंट्स को एलिजिबिलिटी सर्टिफिकेट इश्यू करेगा.
जिन स्टूडेंट्स ने 11वीं और 12वीं की पढ़ाई रेगुलर तौर पर न की हो यानी ओपन स्कूल से की हो या प्राइवेट (घर पर रहकर) मोड में परीक्षा पास की हो, वह भी डॉक्टर बनने के लिए नीट यूजी परीक्षा दे सकते हैं.
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